एक ओर नेता ने क्यू दिया इस्तीफा राहुल गंदी के करीबी दोस्त ने क्यू दिया इस्तीफा एसी क्या बात हुई की देना पद इस्तीफा , मुंबई के पूर्व सांसद और कांग्रेस नेता, “मिलिंद देवरा” ने हाल ही में अपने पद से इस्तीफा देने का खोसना किया है। इस घोसन ने राजनीतिक दायरे में चर्चा का केंद्र बना दिया है और लोगों में विचार को बेसबर किया है। राजनीतिक में चर्चा है कि देवड़ा एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना में शामिल हो सकते हैं। ऐसे में बड़ा सवाल यह है कि राहुल गांधी के करीबी मिलिंद देवड़ा ने यह कदम क्यों उठाया? दिलचस्प बात यह है कि मिलिंद देवड़ा का इस्तीफा उस दिन आया है जब कांग्रेस पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी मणिपुर से अपनी भारत जोड़ो न्याय यात्रा शुरू कर रहे हैं। यात्रा 15 राज्यों के 100 लोकसभा क्षेत्रों से होकर गुजरेगी। दरअसल कांग्रेस ने पिछले दिनों देवड़ा को अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी का संयुक्त कोषाध्यक्ष नियुक्त करके तोहफा भी दिया था। इसके बावजूद उनका इस्तीफा सवाल खड़े कर रहा है।
“मिलिंद देवेड़ा” ने इस कारण छोड़ी कांग्रेस
“मिलिंद देवरा” को उनके विचारों और सामाजिक कार्यों के लिए जाना जाता है। उन्होंने कांग्रेस के एक प्रमुख पद पर सेवा की है और अपने क्षेत्र में अच्छी ओर बड़ी पहचान बना ली है। उनका इस्तीफा राजनीतिक क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण घटना है, जिसने कई सवाल पेदा किए हैं। दक्षिण मुंबई लोकसभा सीट पर थे देवड़ा ने यह कदम उठाया है। दरअसल मोदी लहर के चलते 2014 के लोकसभा चुनाव में मिलिंद दक्षिण मुंबई लोकसभा क्षेत्र से चुनाव हार गए थे। फिर 2019 के चुनाव में भी उनकी हार हो गई। दोनों बार उन्हें हार बीजेपी-शिवसेना गठबंधन के उम्मीदवार अरविंद सावंत से मिली। इस साल अप्रैल-मई में होने वाले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस I.N.D.I.A. गठबंधन का हिस्सा है।
इस्तीफे के बाद, कुछ लोग यह पूछ रहे हैं कि क्या इसके पीछे कोई बड़ा कारण हैं या क्या यह एक राजनीतिक बदलाव का पहला कदम है। कई राजनीतिक दलों ने इसपर विचार किए हैं और इससे उनकी राजनीतिक स्थिति पर कैसा प्रभाव पड़ेगा, यह देखने के लिए देख रहे हैं। मिलिंद कभी राहुल गांधी के बेहद करीबी हुआ करते थे। महाराष्ट्र की राजनीति में देवड़ा परिवार की अलग ही पहचान है। इस परिवार का कोई न कोई सदस्य दक्षिण मुंबई लोकसभा सीट से पिछले चार दशकों से चुनाव लड़ता आ रहा है। मिलिंद देवड़ा दो बार सांसद रह चुके हैं। उनके पिता और पूर्व केंद्रीय मंत्री मुरली देवड़ा भी चार बार इसी क्षेत्र के सांसद चुने गए थे। यह सीट देवड़ा परिवार की परंपरागत सीट रही है इसलिए मिलिंद उसे कांग्रेस के कोटे में चाहते हैं। मगर, उद्धव सेना इसे छोड़ने के लिए तैयार नहीं है। सूत्रों के मुताबिक, सीट बंटवारे को लेकर मिलिंद देवड़ा कांग्रेस और INDIA से नाराज हैं। उनकी नाराजगी की अहम वजह यह है कि कांग्रेस नेताओं ने उद्धव के सामने अपना पक्ष मजबूती से नहीं रखा।
“मिलिंद देवरा” के इस्तीफे का मतलब यह नहीं है कि उनका सामरिक संबंध राजनीति से हट जाएगा। उनकी https://altamashk.com/बात और सामाजिक योजनाओं में रूचि रखने की बजाय, यह एक नई दिशा में कदम बढ़ाने का संकेत हो सकता है।